संतोष श्रीवास मो 9098156126
बिलासपुर। नवमी तिथि की शुरुआत 16 अप्रैल, 2024 दिन मंगलवार दोपहर 01 बजकर 23 मिनट पर होगी। वहीं, इसका समापन अगले दिन 17 अप्रैल, 2024 दिन बुधवार दोपहर 03 बजकर 14 मिनट पर होगा। इसके साथ ही राम नवमी का मध्याह्न मुहूर्त 17 अप्रैल सुबह 10 बजकर 30 मिनट से दोपहर 01 बजकर 02 मिनट तक रहेगा।
राममंदिर अयोध्या में भगवान राम जी मूर्ति पर होगा सूर्य तिलक
अयोध्या के राम मंदिर में विराजित भगवान राम जी प्रतिमा पर सीधे सूर्य की किरणे पड़ेगी। सूर्य तिलक के माध्यम से राम जन्मोत्सव पर तिलक होगा। चित्र के माध्यम से आप इसे समझ सकते है की कैसे होगा सूर्य तिलक
राम नवमी क्यों मनाते है
यह दिन महत्वपूर्ण है क्योंकि यह भगवान राम के जन्म का प्रतीक है , जिन्हें भगवान विष्णु के दस अवतारों में से एक माना जाता है। भगवान राम को एक आदर्श इंसान और सत्य, धार्मिकता और सदाचार का प्रतीक माना जाता है। वह अपनी बहादुरी, साहस और कर्तव्य के प्रति समर्पण के लिए भी जाने जाते हैं।
रामनवमी पर सिद्धिदात्री, भगवान राम, माता सीता, लक्ष्मणजी और हनुमानजी की करें पूजा
हिंदू धर्म में राम नवमी के दिन मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की पूजा-आराधना बड़ा महत्व है। हर साल चैत्र माह शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को रामनवमी मनाया जाता है। इस साल 17 अप्रैल को रामनवमी मनाई जाएगी। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इसी तिथि में भगवान श्रीराम का जन्म हुआ था। य चैत्र नवरात्रि का आखिरी दिन होता है। इस दिन से ही चैत्र नवरात्रि का समापन होता है। इस विशेष दिन मां सिद्धिदात्री, भगवान राम, माता सीता, लक्ष्मणजी और हनुमानजी की पूजा का विधान है। मान्यता है कि ऐसा करने से जीवन के सभी कष्टों से मुक्ति मिलती है।
रामवनमी की पूजा-सामग्री लिस्ट
रोली, मौली, अक्षत, चंदन, फल, फूल, माला, तुलसी दल, कपूर, पान, लौंग, इलायची, गुलाल, अबीर, ध्वजा, केसर, पंचमेवा, 5 फल, हल्दी, इत्र, दूध, शक्कर, गंगाजल, दही, शहद, घी, मिठाई, पीले वस्त्र, धूप, रामायण की किताब, हवन सामग्री, गाय का घी, तिल, नारियल का गोला, चंदन की लकड़ी, नीम की लकड़ी, आम का पत्ता, अश्वगंधा, बेल गूलर की छाल और चावल समेत पूजा की सभी सामग्री एकत्रित कर लें।
सभी पूजन सामग्री बुधवारी बाजार बिलासपुर में स्थित बहुत ही पुराना दुकान, किफायती दर पर थोक एवम चिल्हर विक्रेता के दुकान *पूजन सामग्री* रेलवे मार्केट, फल लाइन बिलासपुर से रामकिशोर मनोज कुमार मो 7828226466 से घर पहुंच सेवा द्वारा भी प्राप्त कर सकते है।
कैसे करें पूजन :
आचार्य डॉक्टर सत्यनारायण तिवारी हिमांशु महाराज के अनुसार चैत्र नवरात्रि के आखिरी दिन रामनवमी पर सुबह जल्दी उठकर स्नानादि के बाद स्वच्छ कपड़े पहनें। घर के मंदिर की साफ-सफाई करें। सभी पूजा-सामग्री एकत्रित कर लें। इसके बाद मंदिर में एक छोटी चौकी पर लाल या पीला कपड़ा। बिछाकर रामदरबार की प्रतिमा या फोटो स्थापित करें। भगवान श्रीराम का पंचामृत, केसर, दूध और गंगाजल से अभिषेक करें। फिर सभी देवी-देवताओं को फल, फूल, रोली, मौली, इत्र और धूप-दीप अर्पित करें। रामचरितमानस, रामायण और रामरक्षास्त्रोत का पाठ करें। पूजा के बाद प्रसाद चढ़ाएं और सभी पकवानों में तुलसी का पत्ता जरूर डालें। रामवनमी की पूजा में आप पंचामृत, धनिया पंजीरी और मिठाई का भोग लगा सकते हैं। अंत में सभी देवी-देवताओं की आरती उतारें। पूजा समाप्त होने के बाद सभी लोगों के बीच में प्रसाद वितरित करें।